नई दिल्ली/शिव कुमार यादव/- दिल्ली में प्रदुषण का ना रोक पाने के चलते दिल्ली सरकार अब अपनी गिरेबां बचाने के लिए दूसरे राज्यों पर इसका ठीकरा फोड़ना चाहती है लेकिन भाजपा व कांग्रेस के कड़े रूख के चलते अब दिल्ली के पर्यावरण मंत्री व शिक्षा मंत्री ने डीपीसीसी चेयरमैन को बर्खास्त करने की मुख्यमंत्री केजरीवाल से मांग की है। साथ ही कहा कि केंद्र सरकार दिल्ली के प्रदुषण पर गंभीर नही है।

दिल्ली सरकार का आरोप है कि केंद्र सरकार राजधानी में वायु प्रदूषण को लेकर गंभीर नहीं है। दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने कहा कि दिल्ली सरकार की कैबिनेट ने फैसला लिया कि वायु प्रदुषण को रोकने के लिए रियल टाइम सोर्स अपोर्शनमेंट स्टडी’ की जरुरत है, इसके लिए आईआईटी कानपुर से स्टडी कराई गई, लेकिन अब डीपीसीसी ने ये स्टडी बंद करा दी गई है। दिसंबर में डीपीसीसी के चेयरमैन अश्वनी कुमार बनाये गए। पहले पर्यावरण विभाग का सचिव डीपीसीसी का चेयरमैन होता था। आप मंत्री आतिशी ने बताया कि रियल टाइम सोर्सस अपोर्शनमेट स्टडी जिससे वायु प्रदूषण के स्रोतों को रियल टाइम में ट्रैक किया जा रहा था तथा जिससे स्त्रोत का पता लगने पर रियल टाइम में ही उचित कार्रवाई करने से प्रदूषण को फैलने से रोकने में मदद मिलती है। उसक डीपीसीसी के चेयरमैन ने जानबूझ कर बंद करा दिया है। इसलिए डीपीसीसी के चेयरमैन को बर्खास्त किया जाए इसके लिए दिल्ली के मुख्यमंत्री को पत्र लिखा है।


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