मानसी शर्मा / – दिल्ली विश्वविद्यालय को विकास कार्यों के लिए 12वीं योजना के तहत मिली मूल राशि ब्याज समेत लौटानी होगी। शिक्षा मंत्रालय से कई बार गुजारिश के बावजूद राशि खर्च न होने पर लौटाने का निर्देश दिया है। अब डीयू प्रशासन राशि लौटाने को राजी हो गया है।विकास कार्यों के लिए 322.27 करोड़ रुपये की राशि मंत्रालय की ओर से 2016-17 में भेजी गई थी। तब से इस राशि पर ब्याज बढ़कर 172.98 करोड़ रुपये हो गया है।
सितंबर में मंत्रालय ने पत्र लिखकर ब्याज समेत रकम लौटाने को कहा था। यह भी कहा था कि अब पुनर्विचार या पुनः परीक्षण की कोई गुंजाइश नहीं है। डीयू के एक अधिकारी ने कहा कि राशि पूर्व कुलपति के काल में आई थी। वे इसके उपयोग पर निर्णय नहीं कर सके। अब विकास कार्य हो रहे हैं। इसे लेकर मंत्रालय से गुजारिश की गई कि राशि खर्च करने की मोहलत दे दें, लेकिन अब समय नहीं दिया जा रहा हैं। एक शिक्षक ने कहा कि डीयू हेफा से मोटा लोन ले रहा है, लेकिन अनुदान की राशि का उपयोग नहीं हो पा रहा है।


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