
नई दिल्ली/शिव कुमार यादव/- एससी कमेटी को लेकर दिल्ली नगर निगम मुख्यालय में वीरवार को विशेष सदन की बैठक हंगामें की भेंट चढ़ गई। बैठक में आप पार्षदों ने सत्तापक्ष को घेरा जिसकारण बैठक महज कुछ ही मिनट में खत्म हो गई। जैसे ही मेयर राजा इकबाल सिंह सदन में पंहुचे उसी समय ‘आप’ सदस्यों ने हंगामा शुरू कर दिया। ‘आप’ सदस्यों का कहना था कि भाजपा दलित विरोधी है। ‘आप’ सदस्य हवा में डिस्प्ले लहरा रहे थे, जिन पर ‘भाजपा दलित विरोधी’ है लिखा था। मेयर विपक्षी सदस्यों को शांत करने की अपील करते रहे, लेकिन सदस्य शांत नहीं हुए। हंगामा बढ़ता देख मेयर ने सदन की कार्यवाही स्थगित कर दी। ‘आप’ सदस्यों का कहना था कि भाजपा ने तदर्थ व विशेष समितियों में 35 से घटाकर 21 सदस्य कर दिए हैं, जबकि इन्हें बढ़ाया जाना चाहिए। विपक्षी सदस्य एससी कमेटी को पहले की तरह ही 35 सदस्यीय बनाने की मांग कर रहे थे।

नेता प्रतिपक्ष अंकुश नारंग ने कहा कि सत्ता की लालची भाजपा ने सिर्फ अपना चेयरमैन बनाने के लिए एससी कमेटी को 35 से घटाकर 21 सदस्यीय कर दिया है। यह दलितों के अधिकारों पर हमला है। इससे एक बार फिर साबित हो गया कि भाजपा दलित विरोधी है और सत्ता के लिए दलितों का हक छीनने से भी उसे कोई गुरेज नहीं है। दरअसल आज सिविक सेंटर स्थित निगम मुख्यालय में विशेष सदन की बैठक हुई। इस दौरान विशेष और तदर्थ समितियों के सदस्यों के चयन की प्रक्रिया संपन्न हुई। भाजपा ने अपना चेयरमैन बनाने की रणनीति के तहत 35 सदस्यीय एससी समिति को घटाकर सिर्फ 21 सदस्यीय कर दिया। नारंग ने कहा कि सिर्फ अपना चेयरमैन बनाने के लिए भाजपा ने 35 सदस्यों को घटाकर 21 कर दिया। इससे उन 14 दलित पाषर्दों को उनके अधिकारों से वंचित कर दिया गया, जो अपने इलाके और दलित समाज की आवाज उठा सकते थे।

‘आप’ है सबसे बड़ी दलित विरोधी पार्टी : गोयल
इंद्रप्रस्थ विकास पार्टी के नेता एवं वरिष्ठ निगम पाषर्द मुकेश गोयल ने एससी कमेटी के नाम पर हंगामा करने वाली आम आदमी पार्टी की नीतियों पर सवाल उठाए हैं। उन्होंने कहा कि यदि ‘आप’ नेताओं को कोई आपत्ति है तो जब सदन में यह प्रस्ताव लाया गया था, तभी औपचारिक चर्चा के साथ विरोध दर्ज कराना चाहिए था। यदि वास्तव में दलित पार्षदों के हितों का इतना ही खयाल है तो उन्हें कमेटी के सदस्यों के नामांकन करने का भी बहिष्कार करना चाहिए था, लेकिन उन्होंने ऐसा नहीं किया। मुकेश गोयल ने कहा कि ‘आप’ सबसे बड़ी दलित विरोधी है। इसका सीधा सा उदाहरण है कि उन्होंने अपने शासनकाल में ढाई वर्ष तक कमेटियों का ही गठन नहीं होने दिया। दूसरे जब दलित मेयर के चुनाव का समय आया तो उसे छह-सात माह देरी से कराया, जिसकी वजह से दलित मेयर को अपना कार्यकाल पूरा करने का समय ही नहीं मिला। अब ‘आप’ नेता अपने दलित प्रेम पर घड़यिली आंसू बहा रहे हैं।
आवारा कुत्तों पर लगाम लगाने में निगम की भाजपा सरकार नाकाम : नाजिया
दिल्ली नगर निगम में कांग्रेस दल की नेता नाजिया दानिश ने सत्ताधारी दल भाजपा नेता एवं मेयर राजा इकबाल सिंह से इस्तीफे की मांग की है। उन्होंने कहा कि भाजपा के शासन वाली एमसीडी राजधानी में आवारा कुत्तों पर लगाम लगाने में पूरी तरह से नाकाम रही है। पिछले ढाई वर्ष तक आम आदमी पार्टी ने निगम का सत्यानाश किया। अब भाजपा व्यास्था को संभाल पाने में नाकाम साबित हो रही है। कांग्रेस दल की नेता नाजिया दानिश ने कहा कि राजधानी में भाजपा ट्रिपल इंजन सरकार है। केन्द्र में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी बैठे हैं। दिल्ली में रेखा गुप्ता सरकार है और निगम में मेयर राजा इकबाल सिंह हैं। इसके बावजूद निगम की सत्ताधारी भाजपा वैटिनरी डिपार्टमेंट (पशु चिकित्सा सेवाएं विभाग) का डायरेक्टर तक नियुक्त नहीं कर पाई है। यहां तक कि डॉग सेंटर के लिए एक वर्ष पहले प्लॉट मिल गया था, परंतु अभी तक यहां डॉग सेंटर तक नहीं बनाया जा सका है।
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