मानसी शर्मा /- कल दुनिया की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था और सैन्य शक्ति, संयुक्त राज्य अमेरिका, अपने 47वें राष्ट्रपति का चुनाव हो चुके हैं। इस चुनाव में मौजूदा उपराष्ट्रपति कमला हैरिस और पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के बीच कांटे की टक्कर देखने को मिली है। अमेरिका की नीतियां, विशेष रूप से रक्षा और आर्थिक क्षेत्र में, भारत पर गहरा असर डालती हैं। पूरी दुनिया की नजरें इस चुनाव के परिणामों पर हैं, और भारत भी इससे प्रभावित होगा।
भारत-अमेरिका रिश्तों पर चुनाव का असर
अमेरिका, भारत का प्रमुख निवेशक देश है, और दोनों देशों के बीच रणनीतिक, व्यापारिक और रक्षा संबंध महत्वपूर्ण हैं। इसके अलावा, अमेरिका में रहने वाली बड़ी संख्या में भारतीय प्रवासी भी दोनों देशों के रिश्तों को प्रभावित करते हैं। इस चुनाव का परिणाम भारत की सुरक्षा नीति, व्यापार और द्विपक्षीय संबंधों को नई दिशा दे सकता है।
ट्रम्प की जीत से भारत पर क्या असर होगा?
अगर डोनाल्ड ट्रम्प फिर से राष्ट्रपति बनते हैं, तो भारत के साथ उनके रिश्ते मजबूत हो सकते हैं, क्योंकि उनका प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ अच्छा तालमेल है। हालांकि, ट्रम्प की आर्थिक नीतियों से मुद्रास्फीति बढ़ सकती है। वह आयात पर टैरिफ बढ़ाने के पक्षधर हैं, जिससे विदेशी सामान महंगे हो सकते हैं। इसके अलावा, ट्रम्प अमेरिका में अधिक उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए नीतियां बना सकते हैं, जिससे लागत में वृद्धि हो सकती है।
ट्रम्प ने चीन से आयात पर 60%और अन्य देशों से 10-20%टैरिफ लगाने का प्रस्ताव रखा है, जिससे भारत के कपड़ा, दवा और आईटी सेक्टर पर नकारात्मक असर पड़ सकता है। साथ ही, उनकी इमिग्रेशन पॉलिसी से भारतीय प्रवासियों के लिए चुनौतियाँ बढ़ सकती हैं, खासकर H-1B वीजा को लेकर।
कमला हैरिस की जीत से भारत पर क्या असर होगा?
कमला हैरिस भारतीय मूल की हैं और उनकी नीतियां आम तौर पर उदारवादी और यथास्थितिवादी मानी जाती हैं। हालांकि, 2019में जम्मू और कश्मीर से अनुच्छेद 370हटाने के मुद्दे पर उनका रुख भारत के खिलाफ था, लेकिन उपराष्ट्रपति बनने के बाद उन्होंने तटस्थ रुख अपनाया है।
हैरिस ने भारत-चीन से होने वाले आयात पर टैरिफ न बढ़ाने की प्रतिबद्धता जताई है, जिससे भारतीय व्यापारियों को राहत मिल सकती है। उनकी नीतियों में अमेरिका और भारत के बीच रणनीतिक साझेदारी को बनाए रखने की संभावना है, जो दोनों देशों के रिश्तों को और मजबूत कर सकती है।
भारत के लिए अवसर या चुनौती होगा ये चुनाव?
अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव का परिणाम भारत के लिए महत्वपूर्ण अवसर और चुनौतियां लेकर आएगा। चाहे वह ट्रम्प की ‘अमेरिका फर्स्ट’ नीति हो या हैरिस की यथास्थितिवादी नीतियां, दोनों उम्मीदवारों की जीत से भारत के आर्थिक और राजनीतिक रिश्ते प्रभावित होंगे।
More Stories
हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री ओमप्रकाश चौटाला का निधन, जानिए उनके जीवन से जुड़ा एक अहम किस्सा
दिल्ली में पूर्वांचलियों के नाम काटने की बीजेपी की साजिश का आरोप, केजरीवाल ने उठाए सवाल
कुमाऊं विश्वविद्यालय में हाईटेक नकल, परीक्षा में ChatGPT से नकल करते पकड़ा गया छात्र
रामनगर पुलिस ने एंबुलेंस में नशे का कारोबार कर रहे दो तस्करों को 58 किलो गांजे के साथ किया गिरफ्तार
गुनीत मोंगा की फिल्म ‘अनुजा’ को ऑस्कर 2025 के लिए लाइव-एक्शन शॉर्ट फिल्म श्रेणी में शॉर्टलिस्ट किया गया
विश्व ध्यान दिवस पर आरजेएस ने प्रवासी माह में काकोरी के शहीदों को श्रद्धांजलि दी