ढाका/उमा सक्सेना/- इंकलाब मंच के प्रवक्ता और छात्र नेता उस्मान हादी के जनाजे को लेकर बांग्लादेश की राजधानी ढाका में भारी तनाव का माहौल है। सिंगापुर से शुक्रवार शाम उनका पार्थिव शरीर ढाका लाया गया, जिसके बाद से ही बड़ी संख्या में लोग सड़कों पर उतर आए हैं। हादी का जनाजा आज थोड़ी देर में राष्ट्रीय संसद भवन के सामने से निकाले जाने की संभावना है। भारी भीड़ को देखते हुए हिंसा की आशंका से इनकार नहीं किया जा सकता, इसी कारण पूरे शहर में सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई है।
सुरक्षा के कड़े इंतजाम, ड्रोन से निगरानी
ढाका के संवेदनशील इलाकों में अतिरिक्त पुलिस बल, अर्धसैनिक बल और दंगा नियंत्रण इकाइयों को तैनात किया गया है। प्रशासन ड्रोन और सीसीटीवी कैमरों के जरिए हालात पर नजर बनाए हुए है। बांग्लादेश में अलर्ट घोषित किया गया है, वहीं संभावित असर को देखते हुए भारतीय सीमा पर भी बीएसएफ को सतर्क कर दिया गया है।
हिंसा की पृष्ठभूमि में मेमनसिंह हत्याकांड
इस बीच मेमनसिंह जिले के वालुका इलाके में एक हिंदू युवक दीपू चंद्र दास की पीट-पीटकर हत्या के मामले में सात आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है। अंतरिम सरकार के मुख्य सलाहकार मोहम्मद यूनुस ने सोशल मीडिया के जरिए इसकी जानकारी दी और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई का भरोसा दिलाया।
प्रेस की स्वतंत्रता पर हमलों पर चिंता
बांग्लादेश के हालात पर भारत में भी प्रतिक्रिया सामने आई है। तिरुवनंतपुरम से सांसद शशि थरूर ने सोशल मीडिया पोस्ट में अखबारों ‘डेली स्टार’ और ‘प्रथम आलो’ के दफ्तरों पर हुए हमलों को प्रेस की स्वतंत्रता और बहुलतावादी समाज पर हमला बताया। उन्होंने कहा कि हिंसा का सीधा असर आम नागरिकों, छात्रों और मरीजों पर पड़ रहा है।
दिल्ली में बांग्लादेश उच्चायोग की सुरक्षा बढ़ी
हादी की मौत के बाद भड़की हिंसा को देखते हुए नई दिल्ली स्थित बांग्लादेश उच्चायोग में भी सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई है। दिल्ली पुलिस के अनुसार किसी भी तरह की कानून-व्यवस्था बिगड़ने नहीं दी जाएगी और उच्चायोग परिसर के आसपास अतिरिक्त बल तैनात किया गया है।
मोहम्मद यूनुस के जनाजे में शामिल होने की संभावना
सूत्रों के मुताबिक, बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के मुख्य सलाहकार मोहम्मद यूनुस उस्मान हादी के जनाजे में शामिल हो सकते हैं। उन्होंने हादी की मौत के बाद हुई हिंसा की निंदा करते हुए उपद्रवी तत्वों को इसके लिए जिम्मेदार ठहराया है। सरकार ने हादी के निधन पर एक दिन का राष्ट्रीय शोक भी घोषित किया है।
अमेरिका ने अपने नागरिकों के लिए एडवाइजरी जारी की
ढाका में बिगड़ते हालात को देखते हुए अमेरिकी उच्चायोग ने अपने नागरिकों के लिए एडवाइजरी जारी की है। इसमें जनाजे के दौरान भीड़भाड़ वाले इलाकों से दूर रहने और किसी भी प्रदर्शन या बड़ी सभा के आसपास विशेष सतर्कता बरतने की सलाह दी गई है।
हिंसा में अखबार दफ्तरों और ऐतिहासिक स्थलों को निशाना
हादी की मौत के बाद गुरुवार को ढाका समेत कई शहरों में उग्र प्रदर्शन देखने को मिले। इस दौरान ‘प्रथम आलो’ और ‘डेली स्टार’ के दफ्तरों में तोड़फोड़ और आगजनी की गई। इसके अलावा शेख मुजीब-उर रहमान के घर, सांस्कृतिक संस्था छायानौत और अवामी लीग के दफ्तर को भी निशाना बनाया गया। ढाका स्थित भारतीय उच्चायोग के बाहर भी प्रदर्शनकारियों ने नारेबाजी की।
राष्ट्रीय कवि के पास हो सकता है अंतिम संस्कार
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, उस्मान हादी को ढाका विश्वविद्यालय की सेंट्रल मस्जिद के पास, बांग्लादेश के राष्ट्रीय कवि काजी नजरुल इस्लाम की कब्र के समीप दफनाया जा सकता है। हादी पर पिछले हफ्ते नकाबपोश हमलावरों ने गोली चलाई थी। सिर में गंभीर चोट लगने के बाद उन्हें सिंगापुर ले जाया गया था, जहां इलाज के दौरान गुरुवार को उनकी मौत हो गई। इसके बाद से ही बांग्लादेश में हालात बेहद संवेदनशील बने हुए हैं।


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