
नजफगढ़ मैट्रो न्यूज/गुरूग्राम/नई दिल्ली/शिव कुमार यादव/भावना शर्मा/- भारत समेत पूरा विश्व कोरोना महामारी से ग्रसित है। प्रदेश में भी प्रतिदिन सैकड़ों केस सामने आ रहे हैं। ऐसे में कॉलेज परीक्षाओं को लेकर सरकार के कदम का छात्रों द्वारा विरोध किया जा रहा है। सैकड़ों की संख्या में विद्यार्थियों ने सोशल मीडिया पर मोर्चा खोल दिया है और हरियाणा सरकार से मांग की है कि संक्रमण का खतरा देखते हुए कॉलेज में परीक्षा कराने का विचार त्यागे।
छात्रों का पक्ष रखते हुए गुरुग्राम के छात्र नेता आशीष राजपूत ने कहा कि हम विद्यार्थी परीक्षाओं से नही भाग रहे हैं लेकिन हमारी चिंता अपनी जिंदगी की सुरक्षा को लेकर है। संक्रमण के खतरे में परीक्षा कराना ठीक नही है। हमारी मांग है कि परम्परागत ऑफलाइन एग्जाम के स्थान पर ऑनलाइन एग्जाम और दिल्ली विश्वविद्यालय की तरह ओपन बुक एग्जाम पर विचार होना चाहिए। अगर सरकार वो नही कर सकती तो महाराष्ट्र मॉडल पर भी विचार करना चाहिए। विद्यार्थीयों की सुरक्षा सर्वोपरि समझते हुए सरकार को जल्द से जल्द रुख स्पष्ट करना चाहिए। हम ऑफलाइन एग्जाम के खिलाफ अपना आंदोलन जारी रखेंगे।
यहां बता दें कि कोरोना काल को देखते हुए यूजीसी पहले से ही कई विकल्प सूझा चुकी है, इसके बाबजूद कई राज्यों में विभिन्न विश्वविद्यालय ऑफलाइन एग्जाम कराने पर तुले हैं। जबकि कई विश्वविद्यालय, आईआईटी एग्जाम रद्द कर प्रोमोशन देने का निश्चय कर चुके हैं। ऐसे में हरियाणा सरकार के फैसले का इंतजार किया जा रहा है और छात्र मजबूती से ऑफलाइन एग्जाम के खिलाफ मौर्चा खोले हुए हैं।
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