
नजफगढ़ मैट्रो न्यूज/द्वारका/नई दिल्ली/शिव कुमार यादव/भावना शर्मा/- देश में जैसे-जैसे कोरोना मरीजों की संख्या बढ़ रही है वैसे-वैसे ही ईलाज को लेकर केंद्र पर दबाव भी बढ़ता जा रहा है। देश में कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या 63 हजार के करीब पहुंच गई है। ऐसे में अब केंद्र सरकार ने मरीजों के ईलाज को लेकर नियमों में बदलाव किए हैं। हालांकि स्वास्थ्य मंत्रालय पहले ही अस्पताल से डिस्चार्ज करने की गाईडलाईंस जारी कर चुका लेकिन अब मरीजों के ईलाज को लेकर भी नई गाईडलाईंस जारी की गई है जिसमे मरीजों में संक्रमण के लक्षण के आधार पर तीन अलग-अलग कैटेगरी में बांट दिया गया है। तीनों कैटेगरी के मरीजों को अस्पताल से डिस्चार्ज करने के अलग नियम तय किए गए हैं।
ऐसे मरीज जिनमें कोरोना के लक्षण नहीं है या बहुत हल्के हैं, उन्हें कोविड केयर फैसिलिटी में रखा जाएगा. जिनमें थोड़े गंभीर लक्षण है उन्हें डेडिकेटेड कोविड हेल्थ सेंटर में ऑक्सीजन बेड्स पर रखा जाएगा. जिनमें गंभीर लक्षण हैं और ऑक्सीजन सपोर्ट पर हैं उन्हें क्लिनिकल सिम्प्टम्स दूर होने के बाद ही डिस्चार्ज किया जाएगा.
मरीजों की डिस्चार्ज प्रकिया क्या है?
बहुत हल्के लक्षण वाले मरीज
ऐसे मरीजों को अगर तीन दिन तक बुखार न आए तो दस दिन बाद अस्पताल से छुट्टी दी जा सकती है. इनका रेगुलर टेम्प्रेचर चेक और पल्स ऑक्सिमेट्री मॉनिटरिंग होती रहेगी, हालांकि डिस्चार्ज से पहले उन्हें कोरोना की टेस्टिंग की जरूरत नहीं होगी। गाइडलाइन के मुताबिक, मरीज को डिस्चार्ज के बाद सात दिन तक होम आइसोलेशन में रहना अनिवार्य है।
थोड़े गंभीर लक्षण वाले मरीज
ऐसे मरीजों का बुखार अगर तीन दिन में ठीक हो जाता है और ऑक्सीजन सैचुरेशन 95 फीसदी से ज्यादा रहता है तो दस दिन बाद डिस्चार्ज कर दिया जाएगा. इन्हें भी डिस्चार्ज से पहले कोरोना टेस्टिंग की जरूरत नहीं है। साथ ही डिस्चार्ज के बाद सात दिन तक होम आइसोलेशन में रहना अनिवार्य है।
गंभीर लक्षण वाले मरीज
गंभीर बीमारी से जूझ रहे कोरोना मरीजों के लिए नियम कुछ सख्त हैं. उन्हें ऑक्सीजन सपोर्ट पर रखा जाएगा।क्लीनिकल सिम्प्टम्स दूर होने के बाद ही डिस्चार्ज किया जा सकता है. साथ ही डिस्चार्ज से पहले टी जेड टेस्ट नेगेटिव आना भी अनिवार्य है। इसके अलावा भ्प्ट और अन्य गंभीर बीमारियों वाले पेशेंट्स को आरटी-पीसीआर टेस्ट में नेगेटिव आने के बाद ही डिस्चार्ज किया जाएगा।
More Stories
युवाओं को नशे की चपेट में आने से बचाएं – संध्या चंद्रसेन
महापुरुषों और स्वतंत्रता सेनानियों की स्मृति को आरजेएस फैमिली ने किया नमन्
जमीन अधिग्रहण के 40 साल बाद भी द्वारका में अल्टरनेटिव प्लॉट न मिलने से किसानों में रोष
देहरादून के ब्राइट एंजल स्कूल में निरिक्षण के लिए पंहुची बाल आयोग की टीम, मिली अनिमित्ताएं
डेमो ट्रेडिंग वर्ल्डकप प्रतियोगिताः 2023 का हिस्सा बनें और जीतें 100,000 का इनाम
नरम और गर्म दोनों विचारधाराओं के मूल थे महर्षि दयानंद :- स्वामी सच्चिदानंद