हिंडनबर्ग मामले में सुप्रीम कोर्ट का सेबी की जांच में दखल से इनकार,

स्वामी,मुद्रक एवं प्रमुख संपादक

शिव कुमार यादव

वरिष्ठ पत्रकार एवं समाजसेवी

संपादक

भावना शर्मा

पत्रकार एवं समाजसेवी

प्रबन्धक

Birendra Kumar

बिरेन्द्र कुमार

सामाजिक कार्यकर्ता एवं आईटी प्रबंधक

Categories

November 2024
M T W T F S S
 123
45678910
11121314151617
18192021222324
252627282930  
November 22, 2024

हर ख़बर पर हमारी पकड़

हिंडनबर्ग मामले में सुप्रीम कोर्ट का सेबी की जांच में दखल से इनकार,

-कहा- तीन महीने में जांच पूरी करे सेबी नियामक

नई दिल्ली/शिव कुमार यादव/- सुप्रीम कोर्ट ने हिंडनबर्ग रिसर्च के आरोपों पर सेबी की जांच में दखल देने से इनकार कर दिया है। तीन जजों की बेंच ने अदाणी समूह पर हिंडनबर्ग रिसर्च के आरोपों से जुड़े मामले में फैसला सुनाया है। अदालत ने सेबी को 22 मामलों की जांच सौंपी थी जिसमें दो की जांच बाकी है। न्यायालय ने सेबी को तीन महीने में लंबित जांच पूरी करने का निर्देश दिया है।

शीर्ष अदालत ने कहा- यह साबित करने का कोई आधार नहीं है कि सेबी ने ढिलाई बरती
अदाणी समूह को बड़ी राहत देते हुए उच्चतम न्यायालय ने बुधवार को कहा कि वह नियामकीय व्यवस्था के दायरे में नहीं आ सकता और हिंडनबर्ग की रिपोर्ट या ऐसी कोई भी चीज अलग से जांच के आदेश का आधार नहीं बन सकती। अदालत ने कहा कि सेबी आगे बढ़ेगा और कानून के अनुसार अपनी जांच जारी रखेगा। शीर्ष अदालत ने कहा कि यह साबित करने का कोई आधार नहीं है कि सेबी ने कदम उठाने में ढिलाई बरती। इसके अलावा, अदालत ने कहा कि वर्तमान में मामले को सीबीआई को स्थानांतरित करने का कोई आधार नहीं है। फैसले में आगे कहा गया है कि सरकार और सेबी शॉर्ट-सेलिंग पर हिंडनबर्ग की ओर से लगाए गए कानून के उल्लंघन के आरोपों, यदि कोई हो, की जांच करेंगे और इस मामले में कानून के अनुसार कार्रवाई की जाएगी। उच्चतम न्यायालय ने केन्द्र सरकार और सेबी से नियामकीय ढांचे को मजबूत करने के लिए विशेषज्ञ समिति की सिफारिशों पर विचार करने को कहा है। उच्चतम न्यायालय ने अदाणी-हिंडनबर्ग मामले में विशेष जांच दल (एसआईटी) से जांच कराने से इंकार किया है।

मुख्य न्यायाधीश की अध्यक्षता वाली पीठ ने सुनाया फैसला
चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस जेबी पारदीवाला और जस्टिस मनोज मिश्रा की तीन जजों की बेंच ने यह फैसला सुनाया। प्रधान न्यायाधीश ने कहा कि सेबी को एफपीआई और एलओडीआर नियमनों पर उसके संशोधनों को रद्द करने का निर्देश देने के लिए कोई वैध आधार नहीं है। सेबी ने 22 में से 20 मामलों में जांच पूरी कर ली है। अदालत ने कहा, “सॉलिसिटर जनरल के आश्वासन को ध्यान में रखते हुए, हम सेबी को अन्य दो मामलों में 3 महीने के भीतर जांच पूरी करने का निर्देश देते हैं।“

सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद अदाणी समूह के शेयरों में दिखी तेजी
अदाणी हिंडनबर्ग मामले में सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद बीएसई पर अदाणी एनर्जी सॉल्यूशंस का शेयर 17.83 प्रतिशत चढ़ गया। इस दौरान एनडीटीवी में 11.39 प्रतिशत, अदाणी टोटल गैस में 9.99 प्रतिशत, अदाणी ग्रीन एनर्जी में 9.13 प्रतिशत और अदाणी एंटरप्राइजेज में 9.11 प्रतिशत का उछाल आया। अदाणी विल्मर का शेयर 8.52 प्रतिशत, अदाणी पावर 4.99 प्रतिशत, अंबुजा सीमेंट्स 3.46 प्रतिशत और एसीसी 2.96 प्रतिशत के लाभ के साथ कारोबार करते दिखे। समूह की दो कंपनियों- अदाणी पोर्ट्स और अंबुजा सीमेंट्स के शेयर सुबह के कारोबार में अपने 52-सप्ताह के उच्चतम स्तर पर पहुंच गए। बीएसई का 30 शेयरों वाला सेंसेक्स सुबह के कारोबार में 319.47 अंक के नुकसान के साथ 71,544.60 अंक पर और निफ्टी 104.30 अंक टूटकर 21,561.50 अंक पर कारोबार कर रहा था।

हिंडनबर्ग ने लगाए थे कॉरपोरेट इतिहास की सबसे बड़ी धोखाधड़ी के आरोप
हिंडनबर्ग की रिपोर्ट में दावा किया है कि अरबपति गौतम अदाणी ने ’कॉरपोरेट इतिहास में सबसे बड़ी धोखाधड़ी’ की है। पिछले महीने कई याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए शीर्ष अदालत ने कहा था कि हिंडनबर्ग रिपोर्ट में जो कुछ कहा गया है, उसे पूरी तरह से सही नहीं माना जा सकता।

अदाणी समूह के मुखिया ने दी ये प्रतिक्रिया
सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद अदाणी समूह के चेयरमपर्सन गौतम अदाणी ने ट्वीट किया, “सुप्रीम कोर्ट का फैसला दिखाता है किः सच्चाई की जीत हुई है। मैं उन लोगों का आभारी हूं जो हमारे साथ खड़े रहे। भारत की विकास गाथा में हमारा विनम्र योगदान जारी रहेगा।“

About Post Author

Subscribe to get news in your inbox