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    तिहाड़ जेल की साख एक बार फिर दांव पर, आईएसआईएस के आतंकी तक कैसे पंहुचा मोबाइल

    -तिहाड़ जेल में बने वीडियों में आतंकी ने जय श्रीराम ना बोलने पर लगाया मारपीट का आरोप

    नजफगढ़ मैट्रो न्यूज/नई दिल्ली/शिव कुमार यादव/भावना शर्मा/- वैसे तो तिहाड़ जेल को कैदियों के मामले में काफी सुरक्षित जेल माना जाता है। लेकिन इस जेल में भी कई बार इस तरह के मामले घटित हो जाते है। जिनको लेकर जेल की साख दांव पर लग जाती है। ऐसा ही एक मामला फिर सामने आया है जिसमें एक आइएसआइएस के आतंकी रशीद ने जेल से एक वीडियों बनाकर सोशल मीडिया पर डाल दिया जिससे जेल की साख एक बार फिर दांव पर लग गई है। मामले की उच्च स्तर पर जांच की जा रही है। हालांकि जेल के डीजी ने मारपीट के आरोप को गलत बताया हे। लेकिन जेल में मोबाइल पंहुचने की घटन पर चिंता भी जताई है।
                           यहां बता दें कि देश की राजधानी दिल्ली (क्मसीप) के तिहाड़ जेल (ज्पींत श्रंपस) में एक आतंकी केस में बंद एक कैदी ने वीडियो जारी करके दावा किया है कि उसे जेल में जय श्री राम का नारा लगाने के लिए मजबूर किया गया और मना करने पर उसकी जमकर पिटाई की गई।
                            इस वीडियो पर तिहाड़ जेल के डीजी का कहना है यह सच्च है कि वीडियो जेल के अंदर कल (बुधवार को) बनाया गया है। वीडियो बनाने वाला शख्स एक कैदी है और आईएसआईएस का आतंकी है। उसका नाम राशिद जफर है। वीडियो में आतंकी जो आरोप लगा रहा है वो सरासर गलत हैं। आतंकी ने खुद को चोट पहुंचाई है. यह आतंकी जेल नंबर 8 में बंद है. इस मामले की जांच करवाई जा रही है कि आतंकी के पास मोबाइल फोन कैसे पहुंचा?
                          रशीद ने वीडियो में दावा किया है कि उसे सिपाही और जेल वार्डन ने मारा है। वो आतंकी केस में बंद है इसीलिए उसे मारा गया है। उससे जय श्री राम के नारे लगाने के लिए कहा गया, मना करने पर उसे डंडों से मारा गया। बता दें कि आतंकी राशिद के वकीलों ने कोर्ट में इस आरोप को लेकर अर्जी दायर की है। जेल अधिकारियों ने कैदी के आरोपों को सिरे से खारिज किया है। उनका कहना है वह एक बैरक से दूसरे बैरक में जाना चाह रहा था जो कि अवैध है। कैदी के पास एक सेल फोन बरामद हुआ है। जेल के अधिकारी पूरे मामले की जांच कर रहे हैं।
                          यहां यह भी जान लें कि आतंकी राशिद जफर को दिसंबर 2018 में एनडीए ने दिल्ली के जाफराबाद इलाके से गिरफ्तार किया था। राशिद आईएसआईएस के मॉड्यूल हरकत उल हर्ब ए इस्लाम से जुड़ा था, जो दिल्ली और आसपास रहने वाले नेताओं और सरकारी इमारतों पर हमले की योजना बना रहा था।

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