
नजफगढ़ मैट्रो न्यूज/द्वारका/नई दिल्ली/शिव कुमार यादव/भावना शर्मा/- केंद्र सरकार द्वारा पारित नए कृषि कानूनों के विरोध में किसानों का प्रदर्शन लगातार तीसरे दिन जारी है। हालांकि दिल्ली में विरोध प्रदर्शन के लिए एक स्थान निर्धारित होने के बावजूद किसानों ने शुक्रवार की रात हरियाणा की सिंघु बॉर्डर पर गुजारी। अब शनिवार को किसानों ने एक बार फिर बैठक की, जिसमें उन्होंने आगे की रणनीति पर मंथन किया। इसके बाद किसानों ने सिंघु बॉर्डर से नहीं हटने का फैसला लिया है। पुलिस लगातार किसान नेताओं के संपर्क में है और उन्हें समझाने का प्रयास कर रही है। लेकिन इजाजत मिलने के बाद से जहां किसानों के आंदोलन का प्रभाव कम होने लगा हैं वहीं किसान भी अब जगह को लेकर दोफाड़ हो गये है। जिनमें कुछ किसान बार्डर पर रूके है तो कुछ किसान बुराड़ी पंहुचकर आगे की रणनीति बना रहे है। हालांकि सिंघु बॉर्डर पर आंदोलनरत किसानों का गुस्सा लगातार बढ़ता जा रहा है। उन्होंने गुस्से में बॉर्डर पर ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का पुतला फूंका।
भाकियू के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने किसानों से आह्वान किया है कि लड़ाई अब लंबी चलेगी। उन्होंने कहा कि लड़ाई लंबी चलेगी तो अब संख्या बढ़ाने की जरूरत है, इसलिए कल से सभी किसान ट्रैक्टर-ट्रॉली के साथ यहां पहुंचें। उन्होने कहा कि सरकार किसानों के मुद्दों पर समाधान निकालने में विफल रही है। अब हम दिल्ली की ओर कूच कर रहे हैं।
दिल्ली के बुराड़ी के निरंकारी समागम ग्राउंड में भी सैकड़ों किसान प्रदर्शन कर रहे हैं। वहां प्रदर्शन कर रहे किसानों का कहना है कि हम सरकार पर भरोसा नहीं करते, हमारी पहले भी बात हुई थी लेकिन कोई हल नहीं निकला। हम चाहते हैं कि सरकार ये कानून वापस ले। बाहरी उत्तरी जिला के डीसीपी गौरव शर्मा ने बताया कि प्रदर्शनकारियों को शांतिपूर्ण प्रदर्शन की इजाजत पहले ही दे दी गई है। दिल्ली पुलिस पूरी तरह से तैयार है बुराड़ी में प्रदर्शन की सुविधा उपलब्ध कराने के लिए। हम प्रदर्शनकारियों से जिम्मेदाराना रवैया अपनाने की गुजारिश करते हैं।
भारतीय किसान यूनियन के पंजाब जनरल सेक्रेटरी हरिंदर सिंह ने दिल्ली हरियाणा के सिंघु बॉर्डर पर चल रही बैठक खत्म होने के बाद कहा कि, यह सुनिश्चित हुआ है कि हम अपना प्रदर्शन यहीं जारी रखेंगे और कहीं नहीं जाएंगे। हम रोजाना सुबह 11 बजे मिलकर अपनी रणनीति तय करेंगे।
केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि भारत सरकार किसानों की समस्याओं के लिए किसान यूनियन से बात करने के लिए पूरी तरह तैयार है। हमने उनको तीन दिसंबर का आमंत्रण भेजा है और मुझे आशा है कि वो सब लोग आएंगे और इस संवाद के माध्यम से रास्ता ढूढेंगे।
More Stories
नई दिल्ली स्टेशन पर मची भगदड़ में नहीं हुआ नियमों का पालन, हाई कोर्ट ने रेलवे पर उठाए सवाल
ममता बनर्जी के ‘मृत्यु कुंभ’ बयान पर सियासी संग्राम: समर्थन और विरोध में तीखी प्रतिक्रियाएँ
अंतरिम डिविडेंड चाहिए? आज है IRCTC शेयर खरीदने का आखिरी दिन!
पाकिस्तान में 29 साल बाद खेला जाएगा कोई ICC टूर्नामेंट, ‘मिनी विश्व कप’ चैंपियंस ट्रॉफी का आज से आगाज।
बीजेपी विधायक दल की बैठक टली, अब 19 को होगा मंथन
एजीएस, अपराध शाखा ने मुठभेड़ के बाद पकड़े दो कुख्यात स्नैचर गिरफ्तार