नजफगढ़ मैट्रो न्यूज/रोहिणी/नई दिल्ली/शिव कुमार यादव/भावना शर्मा/- राज्यों के साथ-साथ अब केंद्र सरकार भी अनाथ बच्चों की सुरक्षा व मदद के लिए आगे आ गई है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कोरोना महामारी के दौरान अनाथ हुए बच्चों को राहत देने के लिए बड़ा एलान किया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बड़ी घोषणा करते हुए कहा है कि बच्चे देश के भविष्य के प्रतिनिधि है और कोरोना के कारण माता-पिता या अभिभावक दोनों को खोने वाले सभी बच्चों को पीएम-केयर्स फॉर चिल्ड्रन योजना के तहत सहायता दी जाएगी। ऐसे बच्चों को निःशुलक शिक्षा के साथ-साथ 18 साल की उम्र में मासिक वजीफा और 23 साल की उम्र में पीएम केयर्स से 10 लाख रुपये का फंड मिलेगा।
पीएमओ ने जानकारी देते हुए बताया कि इन बच्चों की निरूशुल्क शिक्षा भी सुनिश्चित की जाएगी। बच्चों को उच्च शिक्षा के लिए शिक्षा ऋण प्राप्त करने में सहायता की जाएगी और इस ऋण पर ब्याज का भुगतान पीएम केयर्स फंड से होगा। इसके अलावा आयुष्मान भारत योजना के तहत 18 साल तक के बच्चों को 5 लाख रुपये का मुफ्त स्वास्थ्य बीमा मिलेगा और प्रीमियम का भुगतान पीएम केयर्स फंड द्वारा किया जाएगा।
वहीं इसके अलावा, प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि 10 वर्ष तक के बच्चे को निकटतम केंद्रीय विद्यालय या एक निजी स्कूल में डे स्कॉलर के रूप में प्रवेश दिया जाएगा। पीएमओ ने कहा कि अगर बच्चे को किसी निजी स्कूल में भर्ती कराया जाता है, तो शिक्षा के अधिकार के मानदंडों के अनुसार फीस पीएम केयर्स से दी जाएगी। स्कूल यूनिफॉर्म, पाठ्यपुस्तकों और नोटबुक पर खर्च के लिए भी पीएम-केयर्स के द्वारा ही भुगतान किया जाएगा।
बच्चे को केंद्र सरकार के किसी भी आवासीय विद्यालय जैसे सैनिक स्कूल, नवोदय विद्यालय आदि में प्रवेश दिया जाएगा। यदि अभिभावकध्दादा-दादीध्विस्तृत परिवार बच्चे की देखभाल करता है, तो उसे निकटतम केंद्रीय विद्यालय या एक निजी स्कूल में डे स्कॉलर के छात्र के रूप में प्रवेश दिया जाएगा।
बच्चों को उच्च शिक्षा के लिए शिक्षा ऋण प्राप्त करने में सहायता की जाएगी और इस ऋण पर ब्याज का भुगतान पीएम केयर्स फंड से होगा। इसके अलावा आयुष्मान भारत योजना के तहत 18 साल तक के बच्चों को 5 लाख रुपये का मुफ्त स्वास्थ्य बीमा मिलेगा और प्रीमियम का भुगतान पीएम केयर्स फंड द्वारा किया जाएगा।
वहीं वैकल्पिक रूप से ऐसे बच्चों को केंद्र या राज्य सरकार की योजनाओं के तहत ट्यूशन फीस के बराबर छात्रवृत्ति या सरकार के मानदंडों के अनुसार स्नातक ध् व्यावसायिक पाठ्यक्रमों के लिए पाठ्यक्रम शुल्क प्रदान किया जाएगा। पीएमओ ने एक बयान में कहा कि जो बच्चे मौजूदा छात्रवृत्ति योजनाओं के तहत पात्र नहीं हैं, उनके लिए पीएम-केयर्स एक समान छात्रवृत्ति प्रदान करेगा।
बच्चों की सुरक्षा व मदद के लिए सबकुछ करेंगे- पीएम मोदी
वहीं इस घोषणा के दौरान पीएम मोदी ने कहा कि बच्चे देश के भविष्य का प्रतिनिधित्व करते हैं और हम बच्चों के समर्थन और सुरक्षा के लिए सब कुछ करेंगे। उन्होंने कहा कि एक समाज के रूप में यह हमारा कर्तव्य है कि हम अपने बच्चों की देखभाल करें और उज्ज्वल भविष्य की आशा जगाएं।
सुप्रीम कोर्ट ने भी जाहिर की थी चिंता
बता दें कि इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने भी कोरोना के कारण अनाथ हुए बच्चों को लेकर चिंता जाहिर की थी। कोर्ट ने कहा था कि इन बच्चों को तुरंत सहायता देने की जरूरत है। सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस एलएन राव की अगुवाई वाली बेंच ने देश भर के जिला प्रशासनों को आदेश देते हुए कहा था कि वह 2020 मार्च के बाद से अनाथ बच्चों की पहचान करें और एनसीपीसीआर के वेबसाइट पर शनिवार तक डाटा अपलोड करें। अदालत ने ये भी कहा है कि इन बच्चों को तुरंत बेसिक जरूरत मुहैया कराया जाए और इसके लिए अदालत के ऑर्डर का इंतजार न किया जाए।
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