राष्ट्रपति जो बाइडन ने अपने समर्थकों और लोगों का भरोसा खोया- निकी हैले

स्वामी,मुद्रक एवं प्रमुख संपादक

शिव कुमार यादव

वरिष्ठ पत्रकार एवं समाजसेवी

संपादक

भावना शर्मा

पत्रकार एवं समाजसेवी

प्रबन्धक

Birendra Kumar

बिरेन्द्र कुमार

सामाजिक कार्यकर्ता एवं आईटी प्रबंधक

Categories

October 2024
M T W T F S S
 123456
78910111213
14151617181920
21222324252627
28293031  
October 6, 2024

हर ख़बर पर हमारी पकड़

राष्ट्रपति जो बाइडन ने अपने समर्थकों और लोगों का भरोसा खोया- निकी हैले

-अमेरिका की चेतावनीः बगराम एयरफोर्स बेस हथियाना चाहता है चीन, भारत के खिलाफ करेगा पाकिस्तान का इस्तेमाल -आने वाले समय में अमेरिका के सामने आयेंगी कई तरह की चुनौतियां


नजफगढ़ मैट्रो न्यूज/देश-विदेश/नई दिल्ली/शिव कुमार यादव/भावना शर्मा/- संयुक्त राष्ट्र में अमेरिका की पूर्व दूत निक्की हैले ने कहा कि अफगानिस्तान से सेना वापसी के फैसले के बाद से राष्ट्रपति जो बाइडन ने अपने समर्थकों और लोगों का भरोसा खो दिया है। ऐसे में अमेरिका के सामने अब कई तरह की चुनौतियां आएंगी।
वहीं अमेरिका ने तालिबान और चीन की बढ़ती नजदीकियों पर चिंता जाहिए करते हुए चेतावनी दी है। उसका मानना है कि अफगानिस्तान पर तालिबान के कब्जे के बाद चीन अफगान धरती का इस्तेमाल अपने फायदे के लिए करना चाहेगा। पूर्व वरिष्ठ अमेरिकी राजनयिक ने चेतावनी देते हुए कहा कि चीन अब बगराम एयरफोर्स बेस को हथियाने की हरसंभव कोशिश करेगा। इसकी मदद से वो पाकिस्तान को भारत के खिलाफ मजबूत करना चाहेगा।
संयुक्त राष्ट्र में अमेरिका के पूर्व दूत निक्की हैले ने कहा कि अफगानिस्तान से सेना वापसी के फैसले के बाद से राष्ट्रपति जो बाइडन ने अपने समर्थकों और लोगों का भरोसा खो दिया है। ऐसे में अमेरिका के सामने अब कई तरह की चुनौतियां आएंगी। अमेरिका को अपने लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित करनी होगी। यही नहीं, अमेरिका को साइबर सुरक्षा पर भी खास ध्यान देना होगा। रूस जैसे देश हम पर हमला करने का कोई मौका नहीं चूकेंगे, क्योंकि उनके पिछले साइब हमले का हमने मुंह तोड़ जवाब नहीं दिया।उन्होंने कहा कि हमें चीन पर पहले से ज्यादा सतर्कता से नजर रखनी होगी। ऐसा इसलिए क्योंकि अब चीन अफगानिस्तान के जरिए अपने मंसूबे पूरा करना चाहेगा। अब तक वह पाकिस्तान के जरिए भारत पर दबाव नहीं बना रहा था, लेकिन अब वह बगराम एयरफोर्स बेस के जरिए पाकिस्तान का इस्तेमाल भारत के खिलाफ करने की कोशिश करेगा। ऐसे में अमेरिका के सामने सिर्फ अंदरूनी ही नहीं, वैश्विक मुददों से निपटने की ताकत भी होनी चाहिए।
जुलाई में अमेरिकी सेना ने करीब 20 साल बाद बगराम एयरफील्ड को छोड़ा। यह अफगानिस्तान का सबसे अहम बेस है। बगराम बेस हजारों अमेरिकी सैनिकों का घर था। उन्होंने कहा कि सबसे बड़ी चीज जो बाइडन को करनी चाहिए, वह है हमारे सहयोगियों को मजबूत करना, उन रिश्तों को मजबूत करना, हमारी सेना का आधुनिकीकरण करना और यह सुनिश्चित करना कि हम साइबर-अपराधों और आतंकवाद के लिए पूरी तरह से तैयार रहें।
उन्होंने कहा कि यह समय है कि राष्ट्रपति बाइडन का प्रशासन भारत, जापान और ऑस्ट्रेलिया जैसे अपने प्रमुख सहयोगियों तक पहुंचे और उन्हें आश्वस्त करें कि अमेरिका उनकी मदद करेगा। आपको सबसे पहले जो करना चाहिए, वह है जल्द से जल्द अपने दोस्तों के साथ जुड़ना, उनके साथ खड़ा होना। फिर चाहे वह ताइवान हो, यूक्रेन हो, इजराइल हो, भारत हो, ऑस्ट्रेलिया हो या फिर जापान हो। हमें उन्हें आश्वस्त करें कि हम हर परिस्थिति में उनके साथ हैं और हमें भी उनकी जरूरत है।
उन्होंने कहा कि हमें यह सुनिश्चित करने की जरूरत है कि हम दुनियाभर में आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई जारी रखेंगे, क्योंकि अफगानिस्तान में जिहादियों की नैतिक जीत के साथ हम दुनियाभर में एक भारी भर्ती अभियान देखने जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि अब हम अकेले पड़ने वाली परिस्थिति में फंस सकते हैं। इसके लिए उन्होंने बाइडन प्रशासन के अफगानिस्तान छोड़ने के फैसले की निंदा भी की।
उन्होंने आरोप लगाया कि बाइडन ने अमेरिकी लोगों का भरोसा खो दिया है। अगर आप इस बात पर गौर करें कि जिहादी सड़कों पर जश्न मना रहे हैं क्योंकि अमेरिका शहर से बाहर हो गया है और उन्होंने उन्हें अरबों डॉलर के उपकरण और गोला-बारूद उपहार के तौर पर सौंप दिया है। उन्होंने कहा कि इससे ज्यादा शर्मनाक और अपमानजनक स्थिति और क्या हो सकती है। दुनिया निश्चित रूप से एक खतरनाक जगह है। हेली ने कहा कि सिर्फ इसलिए कि हम अफगानिस्तान से बाहर आ गए हैं, इसका मतलब यह नहीं है कि यह युद्ध खत्म हो गया है।

About Post Author

Subscribe to get news in your inbox